संसद का मानसून सत्र आज से शुरू हो गया। संसद को दोनों सदनों की कार्रवाई बढ़ती कीमतों और अन्य मुद्दों पर विपक्ष के हंगामे के कारण दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई।
राज्यसभा की कार्यवाही महंगाई और जीएसटी वृद्धि के मुद्दे पर विपक्षी सदस्यों के हंगामे के कारण दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई।
आज सवेरे सदन की बैठक शुरू होते ही सभापति एम. वेंकैया नायडू ने घोषणा की कि केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल को सदन का नेता नियुक्त किया गया है। अपने शुरूआती सम्बोधन में श्री नायडू ने कहा कि सदन के सभापति के रूप में अपने पांच साल के कार्यकाल में बहुत कुछ सीखा है और इस दौरान उन्होंने अपना सर्वश्रेष्ठ योगदान देने की कोशिश की। श्री नायडू ने कहा कि पिछले पांच वर्षों में सदन की कार्यवाही 57 प्रतिशत आंशिक रूप से या पूरी तरह से बाधित हुई हालांकि उन्होंने सदस्यों से सदन की कार्यवाही सुचारू ढंग से चलाने का आग्रह किया।
सभापति के संबोधन के दौरान कांग्रेस, आम आदमी पार्टी और अन्य विपक्षी सदस्य सदन के बीचोंबीच आ गये और बढती कीमतों और जी एस टी वृद्धि को लेकर सरकार विरोधी नारे लगाने लगे। नारेबाजी में वामदल, डी एम के पार्टी, शिवसेना, राष्ट्रीय जनता दल, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और अन्य सदस्य शामिल थे। हंगामा जारी रहने पर सभापति ने सदन की कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी।
इससे पहले 28 नवनिर्वाचित सदस्यों को शपथ दिलाई गई। इनमें भाजपा के आदित्य प्रसाद और जग्गेश, कांग्रेस नेता पी. चिदंबरम, रणदीप सुरजेवाला, राजीव शुक्ला और प्रमोद तिवारी, वाईएसआर कांग्रेस के विजयसाई रेड्डी, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रफुल्ल पटेल, राष्ट्रीय जनता दल की मीसा भारती, शिवसेना के संजय राउत, बीजू जनता दल के सस्मित पात्रा तथा आम आदमी पार्टी के हरभजन सिंह शामिल हैं।
सदन ने जापान के पूर्व प्रधान मंत्री शिंजो आबे, संयुक्त अरब अमीरात के पूर्व राष्ट्रपति शेख खलीफा बिन जायद अल नाहयान और पिछले सत्र के बाद दिवंगत हुए सदन के तीन पूर्व सदस्यों को भी श्रद्धांजलि दी। उनके सम्मान के प्रतीक के रूप में दो मिनट का मौन भी रखा गया।